वीटीआर(वाल्मीकि टाइगर रिजर्व ) के जंगल के बीच बहने वाली सोनहा नदी (तमसा) पार करते समय रविवार की शाम अचानक बाढ़ आ जाने व तेज बहाव से 69 श्रद्धालु डूबने लगे।
जानकारी के बाद एसएसबी 21 वीं वाहिनी के जवानों ने दो घंटे की मशक्कत के बाद सभी को बाहर निकाला। श्रद्धालु नेपाल के चितवन स्थित वाल्मीकि आश्रम से दर्शन कर लौट रहे थे। श्रद्धालुओं में 31 पुरुष, 29 महिला व 09 बच्चे शामिल थे।
कैसे हुई घटना
यूपी के महराजगंज निवासी संदीप के साथ चार, गोपालगंज के नीरज गुप्ता के साथ छह श्रद्धालु, मोतिहारी के संजीव कुमार के साथ 16 श्रद्धालु व बेतिया के नरकटियागंज के सहोदरा निवासी घुघली महतो से साथ 40 श्रद्धालु सोमवार को नेपाल के चितवन स्थित वाल्मीकि आश्रम दर्शन के लिए गए थे। लौटते समय शाम के छह बजे गए।
सभी श्रद्धालु आश्रम से सटे और वीटीआर के जंगल के बीच से निकली सोनहा नदी को पार करने लगे। तभी नेपाल में तेज बारिश की वजह से अचानक नदी में बाढ़ आ गया और धारा तेज बहने लगी। इस दौरान सभी श्रद्धालु उसमें डूबने लगे। अपने स्तर से बचाव करने का प्रयास करने लगे।
जवानों ने साहस का परिचय दिखाते हुए बचाई श्रद्धालुओं की जान
इस बीच कुछ दूरी पर स्थित 21 वीं वाहिनी एसएसबी एफ कंपनी के प्रभारी और एपीएफ नेपाल के पोस्ट कमांडर को इसकी सूचना मिली।
जानकारी के बाद दोनों प्रभारी ने तत्परता दिखाते हुए अपने-अपने जवानों के साथ नदी के पास पहुंचे और अदम्य साहस का परिचय दिखाते हुए मानव श्रृंखला बनाकर तथा उपस्थित संसाधन का उपयोग करते हुए सभी 69 श्रद्धालुओं की जान बचाई।
इसके उपरांत सभी श्रद्धालु अपने-अपने गंतव्य को प्रस्थान किए। श्रद्धालुओं ने जवानों व एपीएफ नेपाल के जवानों को धन्यवाद दिया और सराहना की। इस अभियान में एसएसबी के निरीक्षक चंद्रमणि मेथाई, प्रणव सोनवाल, मनोज कुमार , गौतम कुमार वहीं नेपाल एपीएफ निरीक्षक कुंजन चौधरी शामिल रहे।
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